यीशु मसीह की प्रार्थना क्या है?

प्रार्थना – परमेश्वर से बातचीत

प्रभु यीशु मसीह की प्रार्थना परमपिता परमेश्वर से बात करना है। यीशु मसीह ने पवित्र शास्त्र बाइबिल में, मत्ती रचित सुसमाचार 7:7-12 में कहा:

“माँगो, तो तुम्हें दिया जाएगा, ढूँढ़ो तो तुम पाओगे, खटखटाओ, तो तुम्हारे लिए खोला जाएगा। क्योंकि जो कोई माँगता है, उसे मिलता है, और जो ढूँढ़ता है, वह पाता है, और जो खटखटाता है, उसके लिए खोला जाएगा। तुम में से ऐसा कौन मनुष्य है, कि यदि उसका पुत्र उससे रोटी माँगे, तो वह उसे पत्थर दे? या मछली माँगे, तो उसे साँप दे? अतः जब तुम बुरे होकर, अपने बच्चों को अच्छी वस्तुएँ देना जानते हो, तो तुम्हारा स्वर्गीय पिता अपने माँगनेवालों को अच्छी वस्तुएँ क्यों न देगा? इस कारण जो कुछ तुम चाहते हो कि मनुष्य तुम्हारे साथ करे, तुम भी उनके साथ वैसा ही करो, क्योंकि व्यवस्था और भविष्यवक्ताओं की शिक्षा यही है।”

6 तरीकों से यीशु मसीह हमें प्रार्थना करने के लिए प्रोत्साहित करते हैं:

1. यीशु मसीह हमें प्रार्थना करने का न्योता देते हैं। तीन बार अलग-अलग तरीकों से उन्होंनें ये कहना चाहा – माँगो, ढूँढ़ो, खटखटाओ।

2. यीशु मसीह ने वादा किया कि हमें हमारी प्रार्थनाओं का उत्तर मिलेगा। चार बार उन्होंनें यह वायदा किया  – हमें मिलेगा, हम पाएँगे, हमारे लिए खोला जाएगा, हमारा स्वर्गीय पिता हमें देगा।

3.  पवित्र शास्त्र बाइबिल के यूहन्ना 1:12 में कहा गया है कि जो कोई यीशु मसीह के नाम पर विश्वास करेगा वह परमेश्वर की सन्तान कहलाएगा। इस हिसाब से हमारे माँगने पर परमेश्वर जो हमारे स्वर्गीय पिता हैं हमारी प्रार्थना का उत्तर देंगे।

4. प्रार्थना करते वक्त हमें यह जानना होगा कि हम अपने उस स्वर्गीय पिता के पास आ रहे हैं जो निश्चित तौर पर हमारे अपने भौतिक या पार्थिव पिता से अच्छे हैं।

5. हम परमेश्वर की अच्छाई पर भरोसा करके उनसे प्रार्थना कर सकते हैं क्योंकि उन्होंनेेें हमें अपनी सन्तान बनाया है।

6. हम यीशु मसीह की सब बातों को सच जानें क्योंकि उन्होंनें हमारे पापों के लिए अपनी जान दी और हमें परमेश्वर पिता से मिलाया। यीशु मसीह की प्रार्थना परमेश्वर सुनते हैं।

यीशु मसीह ने किन लोगों के लिए प्रार्थना की ?

यीशु मसीह ने बोझ से दबे हुए लोग, धिक्करे हुए लोग, बीमार, depressed और हर तरह के संघर्ष कर रहे लोगों के लिए प्रार्थना की। उन्होंने लोगों को हर जाति और पंत से ऊपर महत्त्व दिया और सभी लोगों को उनकी पहचान के साथ स्वीकार किया।

चंगाई की प्रार्थना

यीशु मसीह ने यह कहा कि जो कोई उन पर विश्वास करता है और परमेश्वर पिता से प्रार्थना में माँगता है, परमेश्वर पिता उनकी प्रार्थना सुनते हैं।

यीशु मसीह ने पवित्र शास्त्र बाइबिल में कई जगहों पर चंगाई के लिए प्रार्थना की। उन्होंनें हमेशा परमेश्वर पिता को धन्यवाद देते हुए प्रार्थना की और रोगी को शारीरिक और आत्मिक चंगाई दी। उन्होंने हमेशा रोगियों के पापों को माफ़ किया, फ़िर उनके शरीर को चंगा किया।

हम भी अगर यीशु मसीह के नाम से, उनके बताए अनुसार प्रार्थना करें तो परमपिता परमेश्वर हमें चंगाई देंगे और हमारी प्रार्थनाओं का जवाब भी।उनकी प्रार्थना के बारे में और जानने के लिए आप हमसे संपर्क कर सकते हैं।

आओ चलें इस नयी मंज़िल पे।

Share
Published by
Nirvi

Recent Posts

आदतें अगर लत और मजबूरी बन जाए तो क्या करें?

क्या मेरी आदतें लत तो नहीं बन रही हैं? लगभग हर दिन मैं एक दोस्त…

3 months ago

मुझे हर वक्त थकावट रहती है 

क्या आप बिना कुछ काम किए भी हर समय थका हुआ महसूस करते हो? कई…

1 year ago

मनोकामना पूरी होने के संकेत

आपने अपनी मनोकामना को पूरी करने के लिए क्या क्या किया है? हम अपनी मनोकामना…

1 year ago

आप प्यार और पैसे में से क्या चुनोगे?

प्यार के बिना ज़िंदगी का कोई मतलब नहीं है पर यह भी सच है कि…

2 years ago

क्या कर्म करने से मेरी क़िस्मत बदल सकती है?

“क़िस्मत का लिखा कोई नहीं मिटा सकता।” “ये तो नसीबों की बात है।” क्या हमारी…

2 years ago

अपने भविष्य की अच्छी योजना कैसे बनाएँ?

ये बात सच है कि "कल किसने देखा है" पर भविष्य की तैयारी और योजना…

2 years ago